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ऐ स्त्री! तू बहुत बहादुर है

कोई तुझे नहीं उठायेगा

तेरा मनोबल नहीं बढ़ायेगा

ऐ स्त्री! तू बहुत बहादुर है

सुन अपने मन की पुकार

शाबाश! चल खड़ी हो जा

अपने साथ कर अपने से बंधे

हर जन का कल्याण

सबका बेड़ा पार।