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संयोग

यह संयोग ही है कि

मैंने इस सुंदर धरा पर

जन्म लिया

रहने के लिये मुझे

एक घर मिला

एक नाम मिला

मेरे मां बाप का दिया

मुझे मेरे भाई बहिन मिले

रिश्तेदार मिले, दोस्त मिले, अड़ोसी पड़ोसी मिले

राह चलते न जाने कितने ही लोग मिले

उनसे मुझे अपार स्नेह मिला

मुझे जीने के लिए एक जीवन मिला

उस पर चलने के लिए एक राह मिली

सामने खड़ी एक मंजिल मिली

इन सबको पाने के लिए मैंने क्या किया

कुछ भी तो नहीं

कोई खास संघर्ष नहीं

जो मिलता गया

वह महज एक संयोग था

इस जीवन रूपी यात्रा में जो कुछ भी घटित हो

रहा है

वह एक संयोग ही है

किसी का मिलना

कुछ देर उसका हमारे जीवन में ठहरना फिर

बिछड़ना

हम चाहकर भी जो हो रहा है उसे बदल नहीं सकते

जो कुछ घटित हो रहा है प्रिय या अप्रिय

वह अधिकतर संयोग ही है

आज नहीं तो कल यह सत्य स्वीकारना ही पड़ेगा।