विवाह
एक पावन बंधन
दो आत्माओं का
इस धरती पर एक पवित्र मिलन
दोनों तरफ रहे प्यार
उम्र भर बरकरार
तो यह रिश्ता फलता फूलता
एक पौधे सा और
जिंदगी के आखिरी पड़ाव पर
बन जाता एक वयस्क पेड़
फूलों से लदा
यह एक ऐसा पेड़ जो
हमेशा हरा भरा रहता
घर आंगन को
अपने प्यार की खुशबूओं से भरा पूरा
रखता
हमेशा फल फूलों से लदा
रहता
उसकी सुगंध से महकता रहता
तन से होता मन का मिलन
बीच राह आत्मा को भी
पवित्र करता
चांदनी रात में
चांद से बतियाता
सितारों की जगमगाती रोशनी
के संसार को भी
अपने प्यार के बल पर
जमीन पर उतार लाता
यह धरती सजती जो
उन दो पवित्र
आत्माओं के मिलन के
प्यार की ज्योत से तो
सारा संसार ही एक
दीये सा झिलमिलाता।